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सामायिक करने वाला साधु जैसा बन जाता है: मुनि सिद्ध प्रज्ञ

काकरोली। आचार्य महाश्रमण के आज्ञानुसार मुनि संजय कुमार, मुनि प्रकाश कुमार एवं मुनि सिद्ध प्रज्ञ के सानिध्य में सामायिक दिवस की आराधना की गई। इस अवसर पर तेरापंथ युवक परिषद कांकरोली के तत्वावधान में सामायिक का अभिनव प्रयोग किया गया। इस अवसर पर बड़ी संख्या में लोगों ने भाग लिया।
आरंभ में मुनि सिद्ध प्रज्ञ ने कहा कि सामायिक समता की साधना है। इसमें अशुभ कर्मों का नाश होता है। व्यक्ति सामायिक काल तक साधु जैसा बन जाता है। आत्मा में रहना ही सामायिक है। अपने स्वभाव में रहना ही सामायिक है। मुनि श्री ने योग ध्यान योग स्वाध्याय योग आदि के माध्यम से सामायिक का अभिनव प्रयोग कराते हुए आचार्य तुलसी को याद किया। कार्यक्रम का मंगलाचरण महिला मंडल द्वारा किया गया।
इस अवसर पर उपासक विनोद बड़ाला ने गीत गाया। मुनि संजय कुमार ने कहा सामायिक से शांति की प्राप्ति होती है। उन्होंने भगवान महावीर की आध्यात्मिक यात्रा की चर्चा करते हुए उनके पूर्व बहू की जानकारी दी मर्यादा का वाचन किया। मुनि प्रकाश कुमार ने जिज्ञासाओं का समाधान किया। तेरापंथ सभा के मंत्री हिम्मत कोठारी ने बाहर से आए लोगों का हार्दिक स्वागत किया। तेरापंथ महिला मंडल मंत्री श्रीमती मनीषा कछारा ने जाप की विधि बताई। परिषद मंत्री दिव्यांश कछारा ने बताया कि अखिल भारतीय तेरापंथ युवक परिषद की 350 शाखाएं पूरे देश में प्रतिवर्ष पर्युषण महापर्व के दौरान अभिनव सामायिक का आयोजन करवाती है। कोषाध्यक्ष रितेश टूकलिया ने बताया कि समाज में आध्यात्मिक विकास हेतु तेरापंथ धर्म संघ के ग्यारहवें आचार्य श्री महाश्रमण जी के इंगित अनुसार हमारी संस्था समय-समय पर ऐसे कार्य आगे भी करती रहेगी। इस अवसर पर बिनोल, राजनगर, धोइंदा, आमेट, मोही आदि गांव से श्रद्धालु उपस्थित थे।


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